
AIIMS Center की स्थापना का ऐलान गाज़ियाबाद क्षेत्र के विकास के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है। इस नए AIIMS Center का निर्माण सिद्धार्थ विहार में किया जाएगा, जो गाज़ियाबाद और इसके आस-पास के लाखों नागरिकों को उन्नत चिकित्सा सेवाएँ प्रदान करेगा।
Siddartha Vihar में AIIMS Center के लिए स्थान का चयन
पहले वसुंधरा और सिद्धार्थ विहार, दोनों को संभावित स्थल के रूप में देखा जा रहा था। लेकिन हमारे सूत्रों के अनुसार, निरीक्षण के बाद 12 एकड़ भूमि की अनुकूल स्थितियों के कारण अधिकारियों ने सिद्धार्थ विहार को AIIMS Center के लिए चुना। इससे यह क्षेत्र चिकित्सा सेवाओं का प्रमुख केंद्र बन जाएगा और यहाँ के निवासियों को व्यापक स्वास्थ्य सेवाएँ मिलेंगी। इसके अलावा, यह सेंटर लगभग 20 लाख निवासियों की चिकित्सा जरूरतों को पूरा करने में सक्षम होगा।
भूमि क्षेत्र का विस्तार और विकास में प्रभाव
इस परियोजना के कारण सिद्धार्थ विहार क्षेत्र में भूमि की कीमतों में तेजी से वृद्धि होने की संभावना है। भूमि के बढ़ते दामों के साथ ही यहाँ के आसपास की संपत्तियों के मूल्य में भी उल्लेखनीय वृद्धि देखने को मिल सकती है। एम्स जैसे बड़े संस्थान के आने से इस क्षेत्र में रियल एस्टेट और संपत्ति बाजार का विस्तार होगा। बड़ी परियोजनाओं के चलते क्षेत्र में आधारभूत संरचना जैसे कि सड़कों, पानी और बिजली की सुविधाओं में सुधार होगा, जिससे यह क्षेत्र और भी आकर्षक बन जाएगा।
आस-पास के क्षेत्र में संपत्ति के मूल्य पर प्रभाव
AIIMS Center के बनने से गाज़ियाबाद के सिद्धार्थ विहार क्षेत्र में रियल एस्टेट क्षेत्र में महत्वपूर्ण वृद्धि की संभावना है। विशेषज्ञों के अनुसार, अस्पतालों, शिक्षण संस्थानों और अन्य बड़े बुनियादी ढाँचे की परियोजनाओं के आसपास की संपत्तियों की कीमतें अक्सर बढ़ जाती हैं। इस कारण, सिद्धार्थ विहार और उसके आसपास के क्षेत्रों में आवासीय और वाणिज्यिक संपत्तियों के मूल्य में उल्लेखनीय वृद्धि देखने को मिल सकती है। इसके साथ ही, आने वाले वर्षों में यहाँ के निवासियों के लिए रोजगार के अवसर बढ़ेंगे और यहाँ की स्थानीय अर्थव्यवस्था को भी प्रोत्साहन मिलेगा।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का दृष्टिकोण
गाज़ियाबाद में आयोजित एक कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने 757 करोड़ रुपये की लागत से 111 परियोजनाओं का शिलान्यास और उद्घाटन किया। इनमें सड़कों का निर्माण, जल आपूर्ति सुधार, और स्मार्ट सिटी विकास परियोजनाएँ शामिल हैं, जो गाज़ियाबाद को एक स्मार्ट सिटी में बदलने की दिशा में एक प्रमुख कदम है। एम्स की स्थापना इस योजना का मुख्य हिस्सा है और गाज़ियाबाद को चिकित्सा सेवा का प्रमुख केंद्र बनाने में सहायक होगी।
स्वास्थ्य सेवा में अत्याधुनिक तकनीक का उपयोग
सिद्धार्थ विहार में प्रस्तावित AIIMS Center में अत्याधुनिक चिकित्सा तकनीकों का उपयोग किया जाएगा, जैसे एआई आधारित डायग्नोसिस, रोबोटिक सर्जरी और दूरस्थ रोगी मॉनिटरिंग। इससे यह केंद्र चिकित्सा अनुसंधान और अत्याधुनिक इलाज का केंद्र बनेगा। एम्स का यह सेंटर देश के सर्वश्रेष्ठ चिकित्सा केंद्रों में से एक बनने का लक्ष्य रखता है, जिससे उत्तर प्रदेश और आसपास के राज्यों के लोगों को उच्च गुणवत्ता वाली स्वास्थ्य सेवाएँ मिल सकेंगी।
स्थानीय अर्थव्यवस्था और रोजगार पर असर
इस एम्स परियोजना के आने से सिद्धार्थ विहार और उसके आसपास के क्षेत्र में स्थानीय अर्थव्यवस्था में वृद्धि होगी। चिकित्सा सेवा, निर्माण, और सेवा क्षेत्र में रोजगार के अवसर बढ़ेंगे। इसके अलावा, इस परियोजना से स्थानीय व्यवसायों और छोटे उद्यमों को भी लाभ होगा, जो क्षेत्र के आर्थिक विकास को प्रोत्साहित करेगा। गाज़ियाबाद में इस नए विकास से क्षेत्र के निवासियों को नई और उन्नत सुविधाएँ मिलने की उम्मीद है।
युवाओं के लिए एक सुनहरा अवसर
इस परियोजना का लाभ गाज़ियाबाद के युवाओं को भी मिलेगा। स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में करियर बनाने के इच्छुक छात्रों के लिए एम्स एक प्रतिष्ठित संस्थान है। इसके साथ ही, मुख्यमंत्री द्वारा हाल ही में 6,000 युवाओं को टैबलेट और स्मार्टफोन वितरित किये गए और 10,000 युवाओं को नौकरी के नियुक्ति पत्र सौंपे गए। यह राज्य सरकार की युवाओं को अपने ही क्षेत्र में चिकित्सा और शिक्षा क्षेत्र में अवसर प्रदान करने की पहल है।
गाज़ियाबाद का बदलता स्वरूप: स्मार्ट सिटी की ओर एक कदम
पिछले कुछ वर्षों में गाज़ियाबाद में सुरक्षा और स्वच्छता के स्तर में सुधार हुआ है। स्मार्ट सिटी परियोजना के तहत शहर में सुरक्षा, स्वच्छता और पर्यावरण सुधार की दिशा में प्रयास जारी हैं। एम्स की स्थापना के साथ ही, गाज़ियाबाद का स्मार्ट सिटी बनने का सपना साकार होने के और करीब आ गया है।
सिद्धार्थ विहार में एम्स सेंटर की स्थापना गाज़ियाबाद के लिए एक ऐतिहासिक कदम है। इस नए एम्स सेंटर के माध्यम से न केवल क्षेत्र में स्वास्थ्य सेवा में सुधार होगा, बल्कि रोजगार के नए अवसर और संपत्ति मूल्य में भी वृद्धि होगी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की यह पहल गाज़ियाबाद को एक स्वस्थ, समृद्ध और सुरक्षित शहर बनाने में सहायक होगी, जिससे यहाँ के नागरिकों का जीवन स्तर भी ऊँचा उठेगा।
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